वेल्थ बनाने के कुछ ही तरीक़े हैं जिनके बारे में अक्सर बात की जाती है. आमतौर पर, यही सलाह दी जाती है कि कम क़ीमत पर ख़रीदारी करें, होल्ड करें, सब्र रखें और कंपाउंडिंग को अपना काम करने दें.
फिर भी लोग इसे नज़रअंदाज़ करते हैं और जल्दी पैसा कमाने के लिए कुछ ऐसे तरीक़े अपना लेते हैं जो उनके लिए सिर्फ बर्बादी लाते हैं. बर्बादी के ये तरीक़े लोगों को ख़ूब लुभावने लगते हैं. आइए कुछ ऐसे ही तरीकों के बारे में जानें जो आपकी वेल्थ कम करने में कोई कसर नहीं छोड़ते.
1. डेरिवेटिव
लंबे वक़्त तक होल्ड करना बहुत ही बोरिंग चीज़ है, और वो भी तब जब ऐसा हमेशा के लिए करना हो. इन्वेस्ट करना चाहते हैं पर पैसे नहीं हैं? कोई बात नहीं. कुछ मार्केट गुरुओं की बात मानें जो वाकई जानते हैं कि क्या बढ़ेगा और कितना बढ़ेगा. अपने ब्रोकिंग ऐप के ज़रिये बस एक क्लिक करके लीवरेज लें. डेरिवेटिव ख़रीदें और अपनी नेट वर्थ से कई गुना बड़ी पोज़िशन ले लें, और फिर इंतज़ार करें उस शुभ घड़ी का जब आप ख़ूब पैसा कमाएंगे. और अगर ये स्ट्रैटजी आपके हिसाब से काम नहीं करती, तो फिर इंतज़ार करें अपने दिवालिया होने का. बस सोच कर देखिए कि इस तरह की स्ट्रैटेजी अपनाने पर आप कितना रोमांच और तनाव महसूस करेंगे. ऐसा रोमांच जो कोई थ्रिलर मूवी देखने पर भी महसूस न हो.
SEBI की एक रिसर्च कहती है कि 89 फ़ीसदी निवेशकों ने फ्यूचर्स एंड ऑप्शंस (डेरिवेटिव) में अपना पैसा गंवाया है. इसके बावजूद, वॉल्यूम बहुत ज़्यादा है, और लोग इस उम्मीद में पैसा लगाते हैं कि वे उन भाग्यशाली 11 फ़ीसदी का हिस्सा बन जाएं.
जैसा कि इन्वेस्टमेंट गुरु चार्ली मंगर ने एक बार कहा था, "ये तीन चीजें किसी भी स्मार्ट व्यक्ति को दिवालिया बना सकती हैं: लिकर (शराब), लेडीज़ और लीवरेज."
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2. क्रिप्टोकरेंसी
दो साल पहले, हमने IPL मैचों के दौरान हद से ज़्यादा क्रिप्टो विज्ञापन देखे थे. क्रिप्टो प्लेटफ़ॉर्म्स द्वारा इन मैचों के दौरान प्रीमियम टेलीकास्ट स्लॉट ख़रीदना इस बात का सबूत है कि इसमें निवेशक काफ़ी दिलचस्पी दिखा रहे थे. FTX का FTT (सबसे हालिया), Luna, Pincoin (एक लंबी सूची) जैसे कुछ नामों को अगर छोड़ दें, तो ये बिज़नस अभी भी फलता-फूलता दिख रहा है. अगर ये न फले-फूले, तो फिर अवैध कारोबारों की फ़ंडिंग कैसे होगी? क्रिप्टोकरेंसी के इस्तेमाल को लेकर और इसे ट्रैक करने के लिए कोई भी रेगुलेशन नहीं है. एल साल्वाडोर के अलावा, किसी भी देश ने इसे क़ानूनी रूप से स्वीकार नहीं किया है. इस निवेश में भी आपको दिवालिया करने की पूरी क्षमता है. और ये भी किसी थ्रिलर मूवी से कम नहीं है.
3. फ़िनफ़्लुएंसर्स की स्टॉक टिप्स
आइए अब स्टॉक्स की बात करें. मैं हाल ही में एक 'समझदार' स्टॉक ट्रेडर से मिली. उन्हें ऐसे स्टॉक्स के बारे में टिप्स मिलती हैं जो कम से कम वक़्त (तिमाही से भी कम) में 70-100 फ़ीसदी रिटर्न देते हैं. उन्हें इन टिप्स देने वाले फ़िनफ़्लुएंसर्स पर पूरा भरोसा है और संगठित तरीक़े से काम करने वाली फर्म्स पर बहुत कम. मुझे ये समझ नहीं आता कि ये फ़िनफ़्लुएंसर्स, भोले-भाले लोगों को टिप्स देने से पहले ख़ुद अपना पैसा उन स्टॉक्स में क्यों नहीं लगाते.
ऐसे फ़िनफ़्लुएंसर्स हर जगह भरे पड़े हैं और मार्केट को लेकर अपना ज्ञान बांटने में ज़रा भी नहीं हिचकिचाते. जिस तरह एक पाखंडी धार्मिक गुरु आपको बरगलाता है, उसी तरह ये फिनफ्लुएंसर्स भी कंगाल बनने में आपकी पूरी मदद करते हैं. इसमें भी किसी थ्रिलर मूवी जैसा ही अहसास होता है.
"सिर्फ दो तरह के निवेशक होते हैं: वे जो नहीं जानते कि मार्केट किस ओर जा रहा है, और दूसरे वो जो नहीं जानते कि वो नहीं जानते हैं. फिर तीसरे नंबर पर कुछ ऐसे लोग आते हैं जो नहीं जानते पर उन्हें अपनी रोजी-रोटी चलाने के लिए दिखाना पड़ता है कि उन्हें सब पता है."
- विलियम बर्नस्टीन
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4. मार्केट का अनुमान लगाना
लगभग सभी SIPs वेल्थ बनाने के लिए 10 साल या उससे भी ज़्यादा वक़्त ले कर चलते हैं. पर कुछ लोग ऐसे भी हैं जिन्हें SIPs उबाऊ लगते हैं. इन मार्केट गुरुओं का अनुमान हर वक़्त तो नहीं पर ज़्यादातर सही होता है. जब मैं किसी फ़ंड मैनेजर को मात दे सकता हूं तो क्यों न एक्टिव इन्वेस्टमेंट करूं? अगर आप ऐसे ही किसी भविष्य बताने वाले की बातें मानेंगे, तो आप भी समय-समय पर अपने इन्वेस्टमेंट में बदलाव करेंगे और एक स्कीम/एसेट से दूसरी स्कीम में स्विच करते रहेंगे. इस तरह, कम से कम शुरुआत में, आपका पोर्टफ़ोलियो भी विनर्स से भरा रहेगा (पिछले प्रदर्शन को देखते हुए). यहां तक कि अगर आपको शॉर्ट/लॉन्ग-टर्म कैपिटल गेन्स टैक्स भी देना पड़े, तो आपका उतावलापन और ख़ुद को दूसरों से बेहतर दिखाने की कोशिश आपको एड्रेनालाईन रश देगी. इससे बेहतर विकल्प क्या हो सकता है?
वेल्थ बनाना और अमीर बनना दो अलग-अलग चीजें हैं. वेल्थ बनाना उबाऊ काम है और इसमें सब्र रखने की ज़रूरत पड़ती है. लेकिन जिसे बनाने में कई साल लग जाते हैं वो कुछ दिनों, घंटों या क्लिक में बर्बाद भी हो सकता है.
याद रखें कि ग़लत सलाह मानकर लिए गए कुछ फ़ैसले आपकी पूंजी को पूरी तरह से बर्बाद कर सकते हैं.
श्यामली 20 सालों से भी ज़्यादा वक़्त से एसेट मैनेजमेंट सेक्टर में काम कर रही हैं. वे अनुभवी सुपर रिच से लेकर अभी-अभी शुरुआत कर रहे लोगों तक सभी के साथ काम कर रही हैं. उनमें निवेश के मानवीय पक्ष को समझने और निवेशकों के साथ सहानुभूति रखने की क़ाबिलियत है, जो उनके लेखन में साफ़ झलकता है. उनसे [email protected] पर संपर्क किया जा सकता है.
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