हमारे एक सब्सक्राइबर राम ने हाल में हमसे संपर्क किया. कुछ ही दिन पहले उन्हें अपनी एक प्रॉपर्टी बेचकर उन्हें ₹50 लाख मिले थे. इस पैसे का इस्तेमाल वो अपने रिटायरमेंट के लिए बड़ी रक़म जोड़ने में करना चाहते थे और इसके लिए उन्होंने हाइब्रिड फ़ंड में निवेश का फ़ैसला किया था.
राम को पता थे कि उनको सारा पैसा एक ही बार में किसी फ़ंड में इन्वेस्ट नहीं करना चाहिए, और इसलिए वो सोच रहे थे कि सारी रक़म आर्बिटाज फ़़ंड में लगा कर, अगले तीन साल में एक हाइब्रिड फ़ंड में STP सेटअप करना बेहतर होगा.
इस तरह से वो ₹50 लाख को अगले तीन साल में किसी हाइब्रिड फ़ंड में धीरे-धीरे इन्वेस्ट कर सकेंगे, और जो रक़म आर्बिटाज फ़ंड में रहेगी वो अच्छा रिटर्न देगी.
अब वो जानना चाहते हैं, क्या आर्बिट्राज फ़ंड से बेहतर कोई ऑप्शन है?
आंकड़ों की बात करने से पहले, आइये समझते हैं कि STP है क्या, और इसके फ़ायदे क्या हैं?
क्या है STP
पूरा नाम: सिस्टमैटिक ट्रांसफर प्लान
रोल: तय रक़म, एक फ़ंड से दूसरे फ़ंड में ट्रांसफ़र करने की सुविधा है.
फ़ायदा: मार्केट कम अवधि में तेज़ उतार-चढ़ाव का सामना करते ही हैं. ऐसे में अपना सारा पैसा एक ही बार में म्यूचुअल फ़ंड में लगाना सही नहीं है, क्योंकि बाज़ार गिरने पर निवेश की वैल्यू कम हो सकती है. यहीं पर STP क़ारगर होती है.
STP से ये पक्का हो जाता है कि आपका पैसा बाज़ार के उतार-चढ़ाव से सुरक्षित रहे, और आपको वो रिटर्न मिल सके, जो या तो महंगाई के बराबर हो या महंगाई से ज़्यादा रिटर्न दे.
इसके अलावा STP निवेश की लागत को औसत करने में भी मदद करता है. आसान शब्दों में कहें तो एक बड़ी रक़म को फैला कर निवेश करने से आपकी पूरी रक़म मार्केट में उस समय निवेश नहीं होती जब मार्केट सबसे ऊंचे स्तर पर हो. इसके बजाए जब मार्केट गिर रहा होता है तब आप ज़्यादा निवेश करते हैं और जब मार्केट तेज़ी पर होता है तो आप कम निवेश करते हैं. ये ऐसी रणनीति है, जिसका सपना निवेशक देखा करते हैं.
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अब हम जानते हैं कि STP क्या है, आइये अब राम के सवाल पर आते हैं कि क्या उनको ₹50 लाख आर्बिट्राज फ़ंड में निवेश करना चाहिए और बाद में हाइब्रिड फ़ंड के लिए STP शुरू करनी चाहिए.
राम के सवाल का जवाब
आर्बिट्राज फ़ंड को अपने जैसे निवेशों में प्रतिस्पर्धा करनी पड़ती है. इनके अलावा, राम अपने ₹50 लाख, नीचे दिए विकल्प में निवेश करने के बारे में भी सोच सकते हैं.
- फ़िक्स्ड डिपॉज़िट (FD)
- शॉर्ट-टर्म डेट फ़ंड
- बैंक सेविंग अकाउंट
पहले बात आर्बिट्राज फ़ंड की. पिछले 12 महीने से लेकर 5 साल के बीच इन फ़ंड्स ने 3.9, 19 प्रतिशत औसत रिटर्न दिया है. और इन पर पहले साल 15 प्रतिशत और इसके बाद 10 प्रतिशत टैक्स लगता है.
शॉर्ट-टर्म डेट फ़ंड: शॉर्ट-टर्म डेट फ़ंड्स ने पिछले 12 महीने से 5 साल में 5.68-6.51 प्रतिशत औसत रिटर्न दिया है. और इस निवेश का टैक्स आपके टैक्स ब्रैकेट पर निर्भर करता है. उदाहरण के लिए, अगर आप सालाना ₹10 लाख से ज़्यादा कमाते हैं और आप पुरानी टैक्स रिजीम में हैं, तो इन फ़ंड्स से होने वाले मुनाफ़े पर 30 प्रतिशत टैक्स लगेगा.
फ़िक्स्ड डिपॉज़िट: FD ने पिछले कुछ साल के दौरान 6-7 प्रतिशत रिटर्न दिया है, लेकिन आपको इससे मिलने वाले ब्याज पर 30 प्रतिशत तक टैक्स चुकाना पड़ सकता है. इससे भी ख़राब बात है कि ये टैक्स आपको हर साल देना होगा. ये शॉर्ट-टर्म डेट फ़ंड से अलग है, जहां आपको तभी टैक्स देना होता है जब आप निवेश से अपने पैसे बाहर निकालते हैं.
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यही नहीं, FD में STP के ज़रिए पैसा डालना बहुत आसान भी नहीं है. यहां, आपको STP चलाने के लिए हर महीने पैसा निकालना होगा. यही वजह है कि इसके लिए STP की सलाह नहीं दी जाती.
सेविंग अकाउंट: बैंक सेविंग अकाउंट क़रीब 3 प्रतिशत ब्याज देता है. कुछ छोटे बैंक 6 प्रतिशत सालाना ब्याज भी देते हैं.
लेकिन बैंक सेविंग अकाउंट के मामले में आपको ब्याज पर 30 प्रतिशत तक टैक्स देना पड़ सकता है. हालांकि अगर आपकी उम्र 60 साल से कम है तो सालाना ₹10,000 तक के ब्याज पर कोई टैक्स नहीं देना होगा.
राम / आप क्या करें
यहां पर साफ़-साफ़ कोई एक जवाब नहीं है. हर विकल्प की अपनी ख़ूबियां और ख़ामियां हैं.
टैक्स के नज़रिए तो देखें तो आर्बिट्राज फ़ंड इसके लिए विजेता बन कर उभरते हैं.
रिटर्न के नज़रिए से ये सभी एक दूसरे से काफ़ी मिलते-जुलते हैं. टैक्स देने के बाद मिलने वाले मुनाफ़े के मामले में शॉर्ट-टर्म डेट फ़ंड बाक़ी के तीनों विकल्पों से थोड़ा बेहतर हैं. आने वाले समय में ये फ़ंड्स ज़्यादा रिटर्न देंगे क्योंकि बॉण्ड्स की यील्ड पिछले कुछ महीनों में बढ़ी हैं. इस तर्क के लिहाज, आर्बिट्राज फ़ंड का रिटर्न भी बढ़ेगा क्योंकि इनके पोर्टफ़ोलियो का कुछ हिस्सा डेट फ़ंड में लगा हुआ है.
वैसे जब आप STP की योजना बना रहे हैं तो आपको रिटर्न को बहुत अहमियत नहीं देनी चाहिए. इसके बजाए आपका फ़ोकस अपनी पूंजी बचाने पर होना चाहिए.
इस मामले में सेविंग अकाउंट, FD और शॉर्ट ड्यूरेशन डेट फ़ंड अच्छे होते हैं. लेकिन यहां FD को इस दायरे से बाहर रखते हैं क्योंकि STP के लिए ये सही नहीं.
आख़िरी बात, अगर आप एक-दो प्रतिशत एक्स्ट्रा रिटर्न पाने से इसका आसान होना ज़्यादा पसंद करते हैं, तो आप अपना पैसा सेविंग अकाउंट में रख कर हाइब्रिड फ़ंड के लिए STP शुरू कर सकते हैं.
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