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Godavari Biorefineries IPO: क्या आपके लिए निवेश का मौक़ा है?

निवेश से पहले गोदावरी बायोरिफायनरीज़ के IPO की हर ज़रूरी जानकारी पढ़ें

Godavari Biorefineries IPO निवेश के लिए कैसा है?AI-generated image

Godavari Biorefineries IPO: गोदावरी बायोरिफायनरीज़ का IPO (इनिशियल पब्लिक ऑफ़रिंग) 23 अक्तूबर 2024 को सब्सक्रिप्शन के लिए खुल गया. इसकी आख़िरी तारीख़ 25 अक्तूबर 2024 है.

निवेश का फ़ैसला लेने में निवेशकों की मदद के लिए, यहां हम इथेनॉल बनाने वाली इस कंपनी की ताक़त, कमज़ोरियों और ग्रोथ की संभावनाओं के बारे में बता रहे हैं.

Godavari Biorefineries IPO: संक्षेप में

  • क्वालिटी: FY2022 और 2024 के बीच,कंपनी ने लगभग 7 और 9 फ़ीसदी का एवरेज रिटर्न ऑन इक्विटी (ROE) और रिटर्न ऑन कैपिटल एम्प्लॉयड (ROCE) दर्ज़ किया.
  • ग्रोथ: FY22-24 के दौरान, कंपनी का रेवेन्यू और नेट प्रॉफ़िट क्रमशः -1 और -20 फ़ीसदी सालाना घटा.
  • वैल्यूएशन: कंपनी का स्टॉक क्रमशः 148 और 3 गुना के P/E (प्राइस -टू-अर्निंग रेशियो) और P/B (प्राइस-टू-बुक रेशियो) पर कारोबार करेगा.
  • मार्केट में कंपनी की स्थिति: गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ को EBP (इथेनॉल ब्लेंडेड पेट्रोल) स्कीम से फ़ायदा मिल सकता है, जिसके तहत केंद्र सरकार का लक्ष्य 2025 तक पेट्रोल में इथेनॉल ब्लेंड या मिश्रण को 20 फ़ीसदी तक बढ़ाना है. हालांकि, गन्ना (एक ज़रूरी रॉ मैटेरियल जिसका इस्तेमाल गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ इथेनॉल बनाने के लिए करती है) मौसमी होता है. बाढ़, सूखा, फसल में बीमारी और मौसम से जुड़ी बाक़ी दिक़्क़तें जैसी प्राकृतिक आपदाएं गन्ने के प्रोडक्शन और प्राइसिंग पर असर डाल सकती हैं, जो बाद में कंपनी की फ़ाइनेंशियल स्थिति पर असर डाल सकते हैं.

Godavari Biorefineries के बारे में

गोदावरी बायोरिफाइनरीज़, भारत में इथेनॉल आधारित केमिकल बनाने वाली टॉप कंपनियों में से एक है. 570 किलोलीटर प्रति दिन की इन्सटाल्ड कैपेसिटी के साथ, कंपनी वॉल्यूम के मामले में सबसे बड़ी इथेनॉल प्रॉड्यूसर में से एक है (31 मार्च, 2024 तक).

गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ चीनी, इथेनॉल, बायो-आधारित केमिकल और बिजली सहित कई तरह के प्रॉडक्ट बनाने के लिए फीडस्टॉक के रूप में गन्ने का इस्तेमाल करती है. ये भारत की उन पहली कुछ कंपनियों में से एक है जिन्होंने इथेनॉल बनाने के लिए गन्ने के रस और सिरप का इस्तेमाल किया. इन प्रॉडक्ट का इस्तेमाल फ़ूड, बेवरेज़, फ़ार्मास्युटिकल्स, फ़्लेवर एंड फ्रैगरैंस, पॉवर, फ्यूल, पर्सनल केयर और कॉस्मेटिक्स जैसी अलग-अलग इंडस्ट्री में किया जाता है.

ताक़त

  • मज़बूत कस्टमर बेस: कंपनी के ग्राहकों में Hershey's India, Hindustan Coca-Cola Beverages और प्रमुख ऑयल मार्केटिंग कंपनियों जैसी प्रमुख कंपनियां शामिल हैं.

कमज़ोरियां

  • एक ही प्रोडक्ट पर भारी निर्भरता: गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ की फ़ाइनेंशियल स्थिति इथेनॉल की बिक्री पर बहुत ज़्यादा निर्भर है, जो इसके रेवेन्यू का लगभग 30 फ़ीसदी बनाता है. इसलिए, रेगुलेटरी पाबंदियां या प्राकृतिक आपदा जैसे बाहरी फ़ैक्टर कंपनी की फ़ाइनेंशियल स्थिति ख़राब असर डाल सकते हैं. उदाहरण के लिए, इथेनॉल ब्लेंड पर सरकार द्वारा अचानक पाबंधी लगाने के कारण कंपनी को Q1FY25 में घाटा हुआ है.
  • कम मार्जिन: कंपनी का ऑपरेटिंग मार्जिन बहुत कम है, जो 4 से 5 फ़ीसदी के बीच है. इसलिए, रॉ मैटेरियल की क़ीमतों में मामूली बदलाव भी इसकी प्रॉफ़िटबिलिटी कम कर सकता है.

Godavari Biorefineries IPO की डिटेल

IPO का कुल साइज़ (करोड़ ₹) 555
ऑफर फॉर सेल (करोड़ ₹) 230
नए इशू (करोड़ ₹) 325
प्राइस बैंड (₹) 334 - 352
सब्सक्रिप्शन की तारीख़ 23-25 अक्तूबर 2024
उद्देश्य क़र्ज़ चुकाना

IPO के बाद

मार्केट कैप (करोड़ ₹) 1,801
नेट वर्थ (करोड़ ₹) 585
प्रमोटर होल्डिंग (%) 63.3
प्राइस/अर्निंग रेशियो (P/E) 147.6
प्राइस/बुक रेशियो (P/B) 3.1

फ़ाइनेंशियल हिस्ट्री

फ़ाइनेंशियल्स (करोड़ ₹) 2 साल की ग्रोथ (% सालाना) FY24 FY23 FY22
रेवेन्यू -0.5 1,687 2,015 1,702
EBIT -6.8 74 96 85
PAT -19.9 12 20 19
नेट वर्थ 5.8 260 249 233
कुल डेट 1.5 655 736 636
EBIT-- अर्निंग बिफ़ोर इंटरेस्ट एंड टैक्स
PAT -- प्रॉफ़िट आफ्टर टैक्स

प्रमुख रेशियो

रेशियो 3 साल का औसत FY24 FY23 FY22
ROE (%) 7.0 4.8 8.1 8.2
ROCE (%) 9.3 7.8 10.4 9.7
EBIT मार्जिन (%) 4.7 4.4 4.8 5.0
डेट-टू-इक्विटी 2.7 2.5 2.9 2.7
ROE -- रिटर्न ऑन इक्विटी
ROCE -- रिटर्न ऑन कैपिटल एम्प्लॉयड

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Godavari Biorefineries की रिस्क रिपोर्ट

कंपनी और बिज़नस

  • क्या पिछले 12 महीनों में गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ की टैक्स के पहले की कमाई (profit before tax) ₹50 करोड़ से ज़्यादा है?
    नहीं. कंपनी ने FY2024 ₹12 करोड़ की ‘टैक्स के पहले की कमाई’ दर्ज़ की.
  • क्या कंपनी अपना बिज़नस बढ़ा पाएगी?
    हां. 2025 तक पेट्रोल में इथेनॉल ब्लेंड को 20 फ़ीसदी तक बढ़ाने की सरकार की पहल से, गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ को बड़ी ग्रोथ का मौक़ा मिलने की उम्मीद है.
  • क्या गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ का कस्टमर बेस काफ़ी वफ़ादार है और क्या ये कंपनी किसी जाने-माने ब्रांड से जुड़ी है?
    नहीं. कंपनी B2B (बिज़नस-टू-बिज़नस) सेगमेंट में काम करती है, जिसमें कोई जाना-माना ब्रांड या ग्राहक जुड़ाव नहीं है.
  • क्या कंपनी के पास कॉम्पिटेटिव एडवांटेज़ है?
    नहीं, क्योंकि कंपनी कॉमोडिटी मार्केट में काम करती है.

गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ का मैनेजमेंट

  • क्या कंपनी के संस्थापकों में से किसी के पास अभी भी कंपनी में कम से कम 5 फ़ीसदी हिस्सेदारी है? या क्या प्रमोटरों के पास कंपनी में 25 फ़ीसदी से ज़्यादा हिस्सेदारी है?
    हां. IPO के बाद, प्रमोटरों की हिस्सेदारी घट कर 63.3 फ़ीसदी तक हो जाएगी.
  • क्या टॉप 3 मैनजरों के पास कंपनी में काम करते हुए कुल मिलाकर 15 साल से ज़्यादा का लीडरशिप अनुभव है?
    हां. कंपनी के बोर्ड के चेयरमैन और मैनेजिंग डायरेक्टर समीर शांतिलाल सोमैया 2007 से कंपनी से जुड़े हुए हैं.
  • क्या मैनेजमेंट पर भरोसा किया जा सकता है? क्या कंपनी SEBI दिशानिर्देशों के तहत साफ़-सुथरी रिपोर्ट जारी करती है?
    हां. कोई नेगेटिव जानकारी उपलब्ध नहीं है.
  • क्या गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ की अकाउंटिंग पॉलिसी ठीक है?
    हां. कोई नेगेटिव जानकारी उपलब्ध नहीं है.
  • क्या कंपनी प्रमोटरों के शेयर गिरवी होने मुक्त है?
    हां. कोई शेयर गिरवी नहीं रखे हैं.

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गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ के फ़ाइनेंशियल

  • क्या कंपनी का वर्तमान और तीन साल का औसत रिटर्न ऑन इक्विटी (ROE) 15 फ़ीसदी से ज़्यादा और औसत रिटर्न ऑन कैपिटल एम्प्लॉयड (ROCE) 18 फ़ीसदी से ज़्यादा है?
    नहीं. इसका तीन साल का औसत ROE और ROCE क्रमशः 7 और 9 फ़ीसदी है. FY2024 में, इसका ROE और ROCE क्रमशः 5 और 8 फ़ीसदी के क़रीब रहा है.
  • क्या पिछले तीन साल के दौरान कंपनी का ऑपरेटिंग कैश फ़्लो पॉज़िटिव रहा है?
    हां. इसने पिछले तीन साल के दौरान पॉज़िटिव ऑपरेटिंग कैश फ़्लो दर्ज किया.
  • क्या कंपनी का नेट डेट-टू-इक्विटी रेशियो 1 से कम है?
    नहीं. Q1FY25 तक, कंपनी का नेट डेट-टू-इक्विटी रेशियो 2.8 था.
  • क्या कंपनी रोज़मर्रा के कामों के लिए बड़ी वर्किंग कैपिटल पर निर्भरता से मुक्त है?
    नहीं. FY24 तक, गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ के वर्किंग कैपिटल डेज़ (दिन) बहुत ज़्यादा (78) थे. इसके अलावा, ये अपने डेली ऑपरेशन को फ़ाइनेंस करने के लिए शॉर्ट-टर्म बॉरोइंग पर निर्भर है.
  • क्या कंपनी अगले तीन साल में बाहरी फ़ंडिंग पर निर्भर हुए बिना अपना बिज़नस चला सकती है?
    नहीं. कंपनी की प्रॉफ़िटेबिलिटी कम है और पिछले तीन साल में से दो साल में इसने नेगेटिव फ़्री कैश फ़्लो जनरेट किया है. इसलिए, अपने capex को फ़ाइनेंस करने के लिए, कंपनी को भविष्य में बाहरी फ़ंडिंग पर निर्भर रहना पड़ सकता है.
  • क्या कंपनी बड़ी आकस्मिक देनदारी से मुक्त है?
    नहीं. 30 जून 2024 तक, कंपनी की आकस्मिक देनदारियां इसकी नेट वर्थ के प्रतिशत के रूप में 88 फ़ीसदी थीं.

गोदावरी बायोरिफाइनरीज़ का वैल्यूएशन

  • क्या स्टॉक अपनी एंटरप्राइज़ वैल्यू पर 8 फ़ीसदी से ज़्यादा की ऑपरेटिंग अर्निंग यील्ड देता है?
    नहीं. लिस्ट होने के बाद, ये स्टॉक अपनी एंटरप्राइज़ वैल्यू पर 3 फ़ीसदी ऑपरेटिंग अर्निंग यील्ड देगा.
  • क्या स्टॉक का प्राइस-टू-अर्निंग रेशियो अपनी जैसी दूसरी कंपनियों के औसत से कम है?
    नहीं. लिस्ट होने के बाद ये स्टॉक 148 गुना P/E पर कारोबार करेगा, जबकि इसके साथियों का औसत स्तर 25 गुना है.
  • क्या स्टॉक की प्राइस-टू-बुक वैल्यू अपनी जैसी दूसरी कंपनियों के औसत स्तर से कम है?
    नहीं. लिस्ट होने के बाद ये स्टॉक 3.1 गुना P/B पर कारोबार करेगा, जबकि इसके साथियों का औसत स्तर 3 गुना है.

डिस्क्लेमर: ये निवेश का सुझाव नहीं है. निवेश करने से पहले ज़रूरी जांच-पड़ताल ज़रूर करें.

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हाल के IPO

नाम प्राइस बैंड (₹) बोली लगाने की तारीख़
Godavari Biorefineries 334 - 352 23-अक्तूबर-2024 से 25-अक्तूबर-2024
Danish Power 360 - 380 22-अक्तूबर-2024 से 24-अक्तूबर-2024
OBSC Perfection 95 - 100 22-अक्तूबर-2024 से 24-अक्तूबर-2024
United Heat Transfer 56 - 59 22-अक्तूबर-2024 से 24-अक्तूबर-2024
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