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Where do I declare foreign income: Amazon,Netflix,Google- ये कुछ ऐसे नाम हैं जो न सिर्फ़ हमारे दैनिक जीवन का हिस्सा हैं, बल्कि कई भारतीयों के पोर्टफ़ोलियो का भी हिस्सा हैं. नतीजा, बाद में टैक्स को लेकर किसी भी तरह की परेशानी से बचने के लिए अपने इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) में विदेशी शेयरों से होने वाली इनकम का सही तरीक़े से खुलासा करना ज़रूरी हो जाता है.
वेतन पाने वाले व्यक्तियों के लिए ITR दाखिल करने की आख़िरी तारीख़ 31 जुलाई है. ऐसे में यहां हम आपको एक DIY (खुद करो) गाइड दे रहे हैं.
अमेरिकी शेयरों की इनकम टाइप और उन पर टैक्स
कोई व्यक्ति अमेरिकी शेयरों से इनकम कैसे हासिल कर सकता है. इसके दो ख़ास तरीक़े हैं:
1. डिविडेंड (Dividends): आपकी अमेरिकी स्टॉक होल्डिंग पर डिविडेंड पर अमेरिका में 25 फ़ीसदी के एक समान रेट पर टैक्स लगाया जाता है. डिविंडेंड इनकम भारत में भी टैक्स के दायरे में आती है. डिविडेंड के तौर पर आपको जो रक़म मिलती है, उसे आपकी नेट इनकम में जोड़ा जाता है और आपके टैक्स स्लैब के मुताबिक़ टैक्स लगाया जाता है.
हालांकि, एक ही इनकम पर दो बार टैक्स लगने से बचने के लिए, भारत और अमेरिका के बीच दोहरा कराधान बचाव समझौता या DTAA (Double Taxation Avoidance Agreement) है. इस समझौते के तहत, आप भारत में अपने द्वारा चुकाए गए टैक्स की रक़म को अमेरिका में पहले से चुकाए गए टैक्स की रक़म से कम कर सकते हैं.
2. पूंजीगत लाभ (Capital gains): अगर आप अमेरिका के गैर-निवासी ( non-resident) हैं, तो अमेरिका आपके द्वारा अमेरिकी स्टॉक बेचने से अर्जित पूंजीगत लाभ (Capital gains) पर टैक्स नहीं लगाता है. हालांकि, भारत में आपको इस लाभ पर टैक्स चुकाना होगा. टैक्स ट्रीटमेंट इस बात पर निर्भर करता है कि उन्हें बेचने से पहले आपने कितने वक़्त तक निवेशित रखा:
- शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन (STCG): अगर 24 महीने से कम समय तक स्टॉक रखा है, तो लाभ टैक्स लायक़ इनकम में जोड़ा जाएगा और आप पर लागू इनकम टैक्स स्लैब के मुताबिक़ टैक्स लगाया जाएगा.
- लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन (LTCG): अगर 24 महीने से ज़्यादा वक़्त तक स्टॉक रखा है, तो आपको इंडेक्सेशन के फ़ायदे के साथ 20 फ़ीसदी कैपिटल गेन टैक्स देना होगा. अमेरिकी स्टॉक निवेश का खुलासा करने के सबसे पहले स्टेप में अपने ब्रोकर से अपने अमेरिकी स्टॉक निवेश से संबंधित ज़रूरी दस्तावेज़ इकट्ठा करें.
ये दस्तावेज़ इस तरह हैं
- पूंजीगत लाभ सारांश विवरण (Capital gain summary statement)
- अनुसूची टीआर (टैक्स रिलीफ़) Schedule TR (Tax relief)
- विदेशी संपत्ति अनुसूची (Foreign asset schedule)
- फ़ॉर्म 1042-S
आप अपना ITR दाखिल करने के बुनियादी चरणों का पालन करने के लिए हमारे लेख, 'अपना ITR कैसे दाखिल करें' पढ़ सकते हैं. अगर आप पहले से रिटर्न फ़ाइल करते रहे हैं तो इनकम टैक्स डिपार्टमेंट की वेबसाइट पर जाकर लॉगइन करें या अगर पहली बार रिटर्न फ़ाइल कर रहे हैं तो रजिस्टर करें. उसके बाद, अपने ITR में स्टॉक से विदेशी इनकम का खुलासा करने के लिए आपको ये स्टेप फ़ॉलो करने होंगे:
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1. इनकम टैब में
- अनुसूची विदेशी स्रोत आय (Schedule Foreign Source Income)
- अनुसूची धारा 90, 90A या 91 के तहत कर राहत (Schedule Tax Relief under Section 90, 90A or 91)
- अनुसूची पूंजीगत लाभ (Schedule Capital Gains)
- अनुसूची अन्य स्रोत (Schedule Other Sources)
2. अन्य (Others) टैब में
- विदेशी एसेट्स शेड्यूल करें (Schedule Foreign Assets)
- एसेट्स और देनदारियों को शेड्यूल करें (अगर आपकी नेट इनकम ₹50 लाख से ज़्यादा है) (Schedule Assets and Liabilities)
इन शेड्यूल को चुनने के बाद, ‘Continue' पर क्लिक करें, और आप अपने द्वारा चुने गए सभी शेड्यूल की लिस्ट वाले पेज पर पहुंच जाएंगे. आपको इन शेड्यूल को एक-एक करके भरना होगा. आइए सबसे मुश्किल शेड्यूल के बारे में बात करते हैं.
3. कैपिटल गेन शेड्यूल करें
- दिए गए विकल्पों में से, ''From sale of assets other than all the above listed items' चुनें और 'Continue' पर क्लिक करें. आप एक पेज पर पहुंच जाएंगे, जहां आपको बेचे गए कैपिटल एसेट्स का विवरण देना होगा.
- ‘From sale of assets other than all above listed items' पर क्लिक करें और 'Add details' पर क्लिक करें इसको भरने के लिए आपको कैपिटल गेन समरी डिटेल की ज़रूरत होगी.
- अगर आपने 24 महीने से कम वक़्त में कोई निवेश बेचा है, तो 'Short-term capital gain' चुनें. अगर आपने 24 महीने के बाद बेचा है, तो 'Long-term capital gain.' चुनें फिर 'add' विकल्प पर क्लिक करें.
रक़म INR में भरें
- एक साल के दौरान आपने जितने भी निवेश बेचे हैं, उनकी कुल राशि को 'a(ii)' में डालें. ये पक्का करें कि ये रक़म INR में हो, डॉलर में नहीं. साथ ही, इन लाभों से हुए अपने नुक़सान, अगर कोई हो, को घटाना न भूलें.
- इसके बाद, नीचे 'b(i)' पर स्क्रोल करें और निवेश की ख़रीद की अपनी लागत का लिखें करें. आपका कुल लाभ 'c [शेष]' में दिखाई देगा. शेड्यूल कैपिटल गेन्स सबमिट करने के लिए 'Confirm' पर क्लिक करें. फिर आप शेड्यूल समरी पेज पर पहुंच जाएंगे.
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5. दूसरे स्रोतों से इनकम
- इसमें आप अमेरिका में निवेश से डिविडेंड और ब्याज इनकम का खुलासा करेंगे.
- 'Add Another' बटन पर क्लिक करें. आपको 'Nature of income' शीर्षक वाली ड्रॉप-डाउन लिस्ट दिखाई देगी. उस लिस्ट से 'Dividends' चुनें.
- साल के दौरान आपको मिली डिविडेंड रक़म को 'i. Dividend income [other than (ii) के अलावा]' में INR में डालें, और 'Confirm.' पर क्लिक करें.
- आप फिर से 'Schedule other sources' पर पहुंच जाएंगे. इस पेज पर, 'Information about accrual/receipt of income from other sources.' विकल्प चुनें.
- यहां, आपको हर तिमाही में हासिल डिविडेंड का खुलासा करना होगा. दूसरी लाइन में रक़म एंटर करें.
- नीचे स्क्रॉल करें और 'Confirm' पर क्लिक करें, अब आप शेड्यूल समरी पेज पर पहुंच जाएंगे.
6. शेड्यूल FSI: विदेशी स्रोत आय (foreign source income)
- इस शेड़्यूल को भरने के लिए, आपको शेड्यूल टैक्स रिलीफ़ (TR) दस्तावेज़ की ज़रूरत होगी.
- 'Add Details' पर क्लिक करें. ड्रॉपडाउन से यूनाइटेड स्टेट्स चुनें. इसके बाद, इनकम के टॉपिक में 'Capital gains चुनें.
- उसके नीचे, साल के दौरान निवेश बेचने से हासिल अपने कैपिटल गैन को 'Income from outside India offered for tax in India' में भरें. (इसमें डिविडेंड या ब्याज से इनकम न जोड़ें).
- इसके बाद, ऊपर दर्ज कैपिटल गेन पर अपने टैक्स स्लैब के मुताबिक़ टैक्स कैलकुलेट करें और इसे 'Tax paid outside India' में भरें.
- फिर, साल के दौरान हासिल ब्याज और डिविडेंड का खुलासा करने के लिए इनकम हेडिंग के भीतर दिए 'Other sources' पर टैप करें.
- डिविडेंड और ब्याज जोड़ें और इसे 'Income from outside India offered for tax in India' में डालें.
- 'Tax paid outside India' में,शेड्यूल TR दस्तावेज़ से कर रक़म भरें.
- इसके बाद, आपको अपने इनकम टैक्स स्लैब के मुताबिक़ टैक्स कैलकुलेट करना होगा क्योंकि अमेरिकी निवेश से हासिल डिविडेंड और ब्याज को दूसरी इनकम (other income) माना जाता है और मुख्य इनकम में जोड़ा जाता है. इसलिए, अगर आप 30 फ़ीसदी टैक्स स्लैब के अंदर आते हैं, तो उसके मुताबिक़ कैलकुलेट करें और इसे 'Tax payable on such income under normal provisions in India' में भरें.
- 'अगर धारा 90 या 90A के तहत राहत का दावा किया गया है तो 'Relevant article of DTAA if relief claimed u/s 90 or 90A' और 'Confirm’ पर क्लिक करें. आप शेड्यूल समरी पेज पर पहुंच जाएंगे.
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7. धारा 90, 90A या 91 के तहत कर राहत शेड्यूल
ये सेक्शन इससे पहले भरे गए शेड्यूल के मुताबिक़ ऑटोमैटिक रूप से भर जाएगा.
बस आगे दिए गए सवाल का जवाब 'No' दें और शेड्यूल सबमिट करने के लिए 'Confirm' पर क्लिक करें. फिर आप शेड्यूल समरी पेज पर पहुंच जाएंगे.
8. शेड्यूल FA
शेड्यूल समरी से इसे चुनें. इसके लिए, आपको ब्रोकर से प्राप्त विदेशी एसेट शेड्यूल दस्तावेज़ की ज़रूरत होगी.
विवरण जोड़ें पर क्लिक करें और 'A3. Details of foreign equity and debt interest.' चुनें. उसके नीचे, देश का नाम यूनाइटेड स्टेट्स चुनें.
इसके बाद, शेड्यूल FA से एक-एक करके अपने पास मौजूद हर स्टॉक का विवरण दें. अगर आपके पास बहुत ज़्यादा स्टॉक हैं, तो आप दूसरा विकल्प चुन सकते हैं. वेबसाइट के होमपेज पर 'डाउनलोड' पर क्लिक करें, 'Income tax returns' चुनें, असेसमेंट ईयर चुनें और ITR 2 पर क्लिक करें. यहां आपको 'Utility Excel Based.' दिखाई देगा. इसे डाउनलोड करें और उसके अनुसार भरें.
9. फ़ॉर्म 67
- पोर्टल के ऊपरी हिस्से पर पर दिए 'e-File' में जाएं. 'Income tax forms' चुनें और फ़ॉर्म 67 खोजें. इसे यूएस में भुगतान किए गए डिविडेंड और ब्याज पर टैक्स क्रेडिट का दावा करने के लिए भरा जाना है. इस फ़ॉर्म को भरते समय आपको कैपिटल पर विचार करने की ज़रूरत नहीं है.
- ‘File Now’ पर क्लिक करें. असेसमेंट ईयर चुनें और 'Continue पर क्लिक करें.
- इस फॉर्म के चार हिस्से हैं जिन्हें आपको भरना है.
- 'Part-A' चुनें और अपने डिविडेंड और ब्याज का विवरण भरें. इसके बाद, नीचे दिए अनुसार DTAA के आर्टिकल नंबर और DTAA के अनुसार टैक्स रेट भरें.
- 'Part B' में सवालों के जवाब में 'No' चुनें.
- इसके बाद, 'Verification' टैब में अपने बुनियादी डिटेल भरें.
- 'Attachments' टैब में ब्रोकर द्वारा दिया गया 1042-S फ़ॉर्म अटैच करें.
- सेव पर क्लिक करें और आपका काम हो गया!
- ये आपके ITR में अमेरिकी स्टॉक से इनकम का खुलासा करने के स्टेप थे. आप यहां दिए गए स्टेप के ज़रिए बाक़ी का ITR भी दाखिल कर सकते हैं.
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