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भारत मैन्युफ़ैक्चरिंग में काफ़ी तेज़ी से आगे बढ़ रहा है और निवेशकों की इस पर नज़र बनी हुई है. मार्च 2024 में HSBC इंडिया मैन्युफ़ैक्चरिंग PMI इंडेक्स 16 साल के अपने सबसे ऊंचे स्तर (59.1) पर पहुंच गया.
जो नहीं जानते उन्हें बता दें कि ये एक सर्वे-आधारित गेज़ होता है जो बताता है कि सप्लाई चेन मैनजरों की नज़र में बिज़नस कंडीशन अच्छी हो रही हैं या ख़राब हो रही हैं. 50 से ऊपर की रीडिंग अच्छी बिज़नस कंडीशन का संकेत देती हैं.
इस ट्रेंड का फ़ायदा उठाने के लिए, फ़ंड हाउस भी थीमेटिक मैन्युफ़ैक्चरिंग फ़ंड्स बना रहे हैं. इस महीने, टाटा AMC की पैसिव ऑफ़रिंग और HDFC की एक एक्टिव ऑफ़रिंग इस तरह की हालिया पेशकशों के उदाहरण हैं. मैन्युफ़ैक्चरिंग फ़ंड्स के ₹10,500 करोड़ के AUM (मार्च 2024 तक) का आधे से ज़्यादा हिस्सा सिर्फ़ तीन स्कीमों द्वारा मैनेज किया जाता है, और ये स्कीमों पिछले एक साल में शुरू की गई हैं.
इस बात का कोई आधार नहीं हैं कि ये S&P BSE मैन्युफ़ैक्चरिंग इंडेक्स के बेहतर प्रदर्शन (हाल ही में साल 2023 से) से कैसे मेल खाता है.
पैसिव तरीक़ा
मार्केट में, आठ मैन्युफ़ैक्चरिंग फ़ंड्स में से तीन पैसिव तरीक़े से मैनेज किए जाते हैं. उनके प्रदर्शन का मोटे तौर पर अंदाजा मैन्युफ़ैक्चरिंग इंडेक्स बेंचमार्क के साथ तुलना करके लगाया जा सकता है, जिसने पिछले कुछ साल में ब्रॉड मार्केट की तुलना में कमज़ोर प्रदर्शन किया है.
एक्टिव तरीक़ा
मैन्युफ़ैक्चरिंग थीम में एक्टिव निवेश के लिए, आपके पास एक्टिव रूप से मैनेज किए जाने वाले पांच फ़ंड्स का विकल्प उलब्ध है. इनमें से सिर्फ़ दो फ़ंड्स एक साल से ज़्यादा पुराने हैं - आदित्य बिड़ला सन लाइफ़ (ABSL) मैन्युफैक्चरिंग इक्विटी फ़ंड और ICICI प्रूडेंशियल मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड . हमने उन्हें उनके संबंधित AMCs के प्रमुख डाइवर्सिफ़ाइड इक्विटी फ़ंड्स - ABSL फ़्रंटलाइन इक्विटी और ICICI वैल्यू डिस्कवरी - के समकक्ष रखा है.
हमने ऐसा इसलिए किया ताकि 'मैन्युफ़ैक्चरिंग-फ़ोकस्ड फ़ंड्स' के मुक़ाबले 'मैन्युफ़ैक्चरिंग-संबंधित स्टॉक एलोकेशन वाले एक डाइवर्सिफ़ाइड इक्विटी फ़ंड' के प्रदर्शन का पता लगाया जा सके.
ध्यान दें कि टॉप 500 कंपनियों में निवेश का विकल्प रखने वाले एक डाइवर्सिफ़ाइड इक्विटी फ़ंड का मैन्युफ़ैक्चरिंग थीम में ज़रूर एक्सपोज़र होगा. ब्रॉड BSE 500 इंडेक्स में मैन्युफै़क्चरिंग-संबंधित स्टॉक्स का 53 फ़ीसदी वेट है. बाक़ी वेटेज़ BFSI, टेक्नोलॉजी, कम्युनिकेशन आदि जैसे स्टॉक्स का है.
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थीमैटिक मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड्स बनाम डाइवर्सिफ़ाइड फ़्लैगशिप फ़ंड्स
पांच साल के आधार पर (8 मई 2024 को ख़त्म होने वाली अवधि), दोनों मैन्युफ़ैक्चरिंग फ़ंड्स ने अपने फ़्लैगशिप कॉउंटरपार्ट्स को पछाड़ा है.
ABSL मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड अपने प्रमुख फ़ंड (जिसने औसतन 17 फ़ीसदी का रिटर्न दिया) के मुक़ाबले सालाना 19 फ़ीसदी की दर से बढ़ा. ICICI मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड भी ICICI वैल्यू डिस्कवरी फ़ंड से लगभग तीन फ़ीसदी आगे रहा.
पहली नज़र में तो मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड्स विजेता लगते हैं, लेकिन क़रीब से देखने पर पता चलता है कि सिर्फ़ 2023 में ही उन्होंने असाधारण रूप से अच्छा प्रदर्शन किया है, जिससे उनके हेडलाइन नंबर अच्छे नज़र आते हैं. -
2023 से पहले का प्रदर्शन
2023 के असाधारण प्रदर्शन से पहले, दोनों मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड्स अपने फ्लैगशिप फ़ंड्स से पीछे चल रहे थे. 2019-2022 के बीच, ABSL मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड ने अपने फ्लैगशिप फ़ंड (14 फ़ीसदी सालाना रिटर्न) के मुक़ाबले लगभग 11 फ़ीसदी का सालाना रिटर्न दिया. इसी तरह, ICICI मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड भी इस अवधि के दौरान प्रमुख वैल्यू-फ़ंड से पीछे रहा.
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बेहतरीन साल
2023 ब्रॉड मार्केट के लिए एक शानदार साल रहा. BFSI को दरकिनार करके, दोनों मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड्स (ABSL और ICICI) अपने फ्लैगशिप फ़ंड्स से क्रमश: 10 और 16 फ़ीसदी तक आगे रहे. PSUs में उनका एलोकेशन (जो पिछले साल 61 फ़ीसदी बढ़ा था) इस साल के बेहतर प्रदर्शन की एक बड़ी वजह था. इसके अलावा, पीछे चल रही उनकी हेल्थकेयर होल्डिंग्स ने भी 2023 में अपना रुख़ बदला, जिससे फ़ंड्स के अच्छे रिटर्न में मदद मिली.
इसलिए, मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड्स को विजेता कहना सही नहीं होगा, क्योंकि उन्होंने 2022 तक अपने फ़्लैगशिप फ़ंड्स के मुक़ाबले कमज़ोर प्रदर्शन किया है. 2023 के असाधारण प्रदर्शन ने उनके 5Y रिटर्न को बढ़ा दिया है.
इसके अलावा, हमने ये भी पता लगाने की कोशिश की कि उन्होंने डाइवर्सिफ़ाइड इक्विटी फ़ंड्स में मौज़ूद मैन्युफ़ैक्चरिंग स्टॉक्स के मुक़ाबले कैसा प्रदर्शन किया. इस मोर्चे पर भी, मैन्युफ़ैक्चरिंग फ़ंड्स पीछे चल रहे हैं.
हमारे एनेलेसिस से पता चलता है कि, जनवरी 2022 से मार्च 2024 के बीच, फ्लैगशिप फ़ंड्स में मौज़ूद मैन्युफ़ैक्चरिंग थीम वाले स्टॉक्स ने ABSL फ़्रंटलाइन इक्विटी (9.5 फ़ीसदी) और ICICI वैल्यू डिस्कवरी (3.2 फ़ीसदी) में मौज़ूद मैन्युफ़ैक्चरिंग थीम वाले स्टॉक्स से बेहतर प्रदर्शन किया. ध्यान दें कि हमने फ़ंड्स के प्रदर्शन को 2022 के बाद से इसलिए लिया है क्योंकि 2020 और 2021 में Covid के कारण काफ़ी उतार-चढ़ाव हुआ था.
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अलग-अलग दौर में प्रदर्शन
2023 में असाधारण प्रदर्शन से 5 साल का रिटर्न (% में) बढ़ गया है
स्कीम का नाम | 2019-2022 | 2023 |
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ABSL फ्रंटलाइन इक्विटी | 13.73 | 23.90 |
ABSL मैन्युफैक्चरिंग | 10.83 | 33.68 |
ICICI वैल्यू डिस्कवरी | 19.11 | 32.08 |
ICICI मैन्युफैक्चरिंग | 17.19 | 48.55 |
हमारा मानना
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ये साफ़ है कि ऐसे कॉन्सन्ट्रेटेड फ़ंड्स बहुत ज़्यादा साइक्लिक होते हैं. इनमें निवेश करके पैसा कमाने के लिए मार्केट के सही वक़्त का इंतज़ार करना ज़रूरी होता है, जो उन्हें बहुत ज़्यादा जोख़िम भरा बनाता है.
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2023 के प्रदर्शन को छोड़कर, पिछले कुछ साल में मैन्युफैक्चरिंग इंडेक्स ने ज़्यादातर बार मार्केट से कमज़ोर प्रदर्शन किया है. इसके अलावा, एक्टिव रूप से मैनेज किए जाने वाले फ़ंड्स के स्टॉक भी डाइवर्सिफ़ाइड स्कीम्स के अपने साथियों से पीछे रहे हैं.
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इसलिए, डाइवर्सिफ़ाइड इक्विटी फ़ंड्स में निवेश करना ज़्यादा समझदारी भरा फ़ैसला है. क्योंकि ऐसा करने से थीमेटिक फ़ंड्स (इस मामले में मैन्युफैक्चरिंग) में मौजूद कंसंट्रेशन वाला जोख़िम नहीं रहता है.
- ज़्यादातर मैन्युफैक्चरिंग फ़ंड्स नए-नए हैं, और उनके लॉन्ग-टर्म प्रदर्शन की जांच नहीं की जा सकती. वैल्यू रिसर्च में, हम उन फ़ंड्स की तरफ़दारी करते हैं जिनका लॉन्ग-टर्म ट्रैक रिकॉर्ड अच्छा हो.
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