Dussehra 2024: दशहरा हर साल बुराई पर अच्छाई की जीत याद दिलाता है. इसी बात को बचत और निवेश से जोड़कर देखें, तो ये निवेश के विकल्पों और निवेश से जुड़ी सामान्य ग़लतियों के बीच जारी एक संघर्ष जैसा है. इस बार दशहरे पर, हम आपसे निवेश की 10 सबसे बड़ी ग़लतियों पर ध्यान देने और पैसों को लेकर समझदारी की जीत का जश्न मनाने का अनुरोध करते हैं.
आइए रावण के 10 सिर जैसी पैसे का विनाश करने वाली बुराइयों पर एक-एक करके ग़ौर करते हैं. और प्रण लें कि अब इनके मायाजाल में नहीं फंसेंगे.
1. जाने-बूझे बिना निवेश
किसी भी निवेश की नींव व्यापक रिसर्च और समझ पर आधारित होनी चाहिए. बिना जानकारी के निवेश की दुनिया में क़दम रखना, आंखों पर पट्टी बांधकर लड़ाई के मैदान में उतरने जैसा है.
2. मार्केट को लेकर अटकलें लगाना
बाज़ार के उतार-चढ़ाव की भविष्यवाणी करने की कोशिश एक ख़तरनाक खेल है. समय के बजाय लगातार निवेश करें, क्योंकि अच्छा रिटर्न लंबे समय के निवेश से ही मिलता है.
3. मार्केट के पीछे भागना
बाज़ार के रुझान से प्रेरित हो कर निवेश करना, अक्सर ग़लत फ़ैसलों का कारण बनता है. थोड़े वक़्त के बाज़ार के मोमेंटम से प्रभावित होने के बजाय एक स्ट्रैटेजी के साथ प्लान करना ही समझदारी भरा निवेश है.
4. क़र्ज़ ले कर निवेश
ये एक बड़ी ग़लती है. भले ही क़र्ज़ से आपका रिटर्न बढ़ जाए, लेकिन नुक़सान भी हो सकता है और तब संभलना मुश्किल हो जाएगा. महत्वाकांक्षा को समझदारी के साथ संतुलित करना बेहद ज़रूरी है.
5. निवेश और इंश्योरेंस को साथ मिलाना
ये अलग-अलग फ़ाइनेंशियल टूल हैं. इन्हें एक साथ मिलाने से न तो सही इंश्योरेंस कवरेज मिलेगा और न ही अच्छा मुनाफ़ा. दोनों को मिलाने से आप अपने पैसे को उसकी असल ग्रोथ की संभावना से दूर कर देते हैं.
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6. इक्विटी से दूरी रखना
भले ही इक्विटी में उतार-चढ़ावा आते हों, लेकिन उनसे पूरी तरह बचने का मतलब महंगाई को मात देने वाले एकमात्र निवेश से चूक जाना है. अक्सर, ये न केवल संभावित ऊंचे रिटर्न से जुड़ा होता है, बल्कि भविष्य में आपके भरण-पोषण का सवाल भी होता है.
7. निवेश को डाइवर्सिफ़ाई न करना
सभी अंडे एक ही टोकरी में रखने (Putting all your eggs in one basket) से आप ऐसा रिस्क लेते हैं जिसकी कोई ज़रूरत नहीं है. अलग-अलग सेक्टर और एसेट क्लास में डाइवर्सिफ़िकेशन रिस्क को कम करने के लिए बहुत ज़रूरी है.
8. दूसरों की टिप्स को आंख मूंद कर मानना
सुनी-सुनाई बातों पर काम करने के विनाशकारी नतीजे हो सकते हैं. आपकी मेहनत की कमाई को भारी नुक़सान पहुंच सकता है. इसलिए, ज़रूरी है कि आप निवेश से पहले अच्छी तरह सोचें और भरोसेमंद स्रोतों से मिली जानकारियों पर ही ध्यान दें.
9. तेज़ी से पैसा बनाने का लालच
जल्दी फ़ायदे का लालच भ्रम पैदा करता है. आपका निवेश हमेशा आपके लंबे समय के उद्देश्यों के मुताबिक़ और बेकार के जोख़िमों से सुरक्षित रहना चाहिए. इसलिए, आपको अपने लंबे समय के लक्ष्य को ध्यान में रखना चाहिए और अपने प्लान पर क़ायम रहना चाहिए.
10. घबराहट में आकर बेचना
बाज़ार का स्वभाव उतार-चढ़ाव का है. बाज़ार में मंदी के दौरान जल्दबाज़ी में फ़ैसले लेने से नुक़सान हो सकता है. इसलिए, अपने रिटर्न को टिकाऊ बनाने का एकमात्र तरीक़ा निवेश को बनाए रखना है. जैसा कि कहा जाता है, निवेश की दुनिया में सब्र एक बड़ा गुण है.
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इन बुराइयों के ख़िलाफ़ SIP का बाण चलाएं
सिस्टमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (SIP) वो राम बाण है, जो निवेश के बुरे फ़ैसलों जैसे रावण के 10 सिरों के खिलाफ़ सबसे कुशल और प्रभावी हथियार हो सकता है.
ये लगातार और अनुशासित निवेश की बात है. भगवान राम के तीर के रूप में, आपकी एक SIP ये पक्का करती है कि निवेशक लंबे समय तक फ़ाइनेंशियल स्टेबिलिटी बनाए रखें. SIP आपको बाज़ार के उतार-चढ़ाव से बचाती है, और धीरे-धीरे पूंजी बढ़ाने का मौक़ा देती है, जिसे आप अपनी ज़रूरतों के मुताबिक़ कभी भी बदल भी सकते हैं और आमदनी के मुताबिक़ अपना निवेश जारी रख सकते हैं.
तो, इस दशहरे में, आइए जानकारी और समझदारी भरे निवेश का संकल्प लें. बचत और निवेश की सही समझ के लिए हमारे साथ जुड़े रहिए. आप सब को दशहरे और दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं!
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