एन.एफ़.ओ. रिव्यू

भारत का पहला EV फ़ंड लॉन्च हुआ. इसमें निवेश क्या फ़ायदे का सौदा होगा?

Mirae Asset Nifty EV और New Age Automotive TEF NFO का रिव्यू

भारत का पहला EV फ़ंड लॉन्च हुआ. इसमें निवेश क्या फ़ायदे का सौदा होगा?AI-generated image

इलेक्ट्रिक गाड़ियां (EV) अब भविष्य की सोच बात नहीं रह गई हैं. आज ऑटोमोटिव इंडस्ट्री में तेज़ बदलाव हो रहे हैं. इसका फ़ायदा उठाने के लिए, मिराए एसेट म्यूचुअल फ़ंड (Mirae Asset Mutual Fund) एक नए तरीक़े का फ़ंड लॉन्च कर रहा है, जो इलेक्ट्रिक और हाइब्रिड गाड़ियों वाली कंपनियों में निवेश कर सके.

ये फ़ंड, निफ़्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव टोटल रिटर्न इंडेक्स (TRI) को ट्रैक करेगा और 5 जुलाई 2024 तक सब्सक्रिप्शन के लिए खुला रहेगा.

यहां एक स्नैपशॉट में फ़ंड दिया गया है:

NFO: एक नज़र में

फ़ंड मिराए एसेट निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव ईटीएफ
NFO अवधि 24 जून से 5 जुलाई, 2024
बेंचमार्क निफ़्टी ईवी और न्यू एज ऑटोमोटिव टोटल रिटर्न इंडेक्स (TRI)
फ़ंड मैनेजर एकता गाला और अक्षय उदेशी
एग्ज़िट लोड शून्य
टैक्स अगर यूनिट एक साल के बाद बेची जाती हैं: 1 लाख रुपये से ज़्यादा के मुनाफ़े पर 10 फ़ीसद टैक्स लगाया जाता है.
अगर यूनिट एक साल के अंदर बेची जाती हैं: 15 फ़ीसद टैक्स लागू होता है.

निफ़्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव (TRI) के बारे में जानिए

चूंकि मिराए एसेट निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव ईटीएफ रिटर्न पैदा करने के लिए निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव टोटल रिटर्न इंडेक्स में मौजूद कंपनी के शेयरों को होल्ड करेंगे, तो आइए इसके बारे में और ज़्यादा जानते हैं.

30 मई, 2024 को लॉन्च किए गए निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव इंडेक्स में 33 कंपनियां शामिल हैं जो इलेक्ट्रिक या नए ज़माने की ऑटोमोटिव गाड़ियों, बैटरी, कंपोनेंट, कच्चे माल और तकनीक के प्रोडक्शन और सप्लाई में शामिल हैं. आपके संदर्भ के लिए, महिंद्रा एंड महिंद्रा , बजाज ऑटो और मारुति सुज़ुकी इंडिया इंडेक्स के तीन बड़े हिस्से हैं, जिनका कुल भार 24.11 फ़ीसदी है.

इसके अलावा, ऑटोमोबाइल और ऑटो कंपोनेंट के शेयरों का इंडेक्स पर क़रीब 71 फ़ीसदी का दबदबा है, इसके बाद IT और केमिकल, क्रमशः 11.52 फ़ीसदी और 8.24 फ़ीसदी हैं.

ऐसा कहा जाता है कि इंडेक्स के रिबैलेंसिंग के समय ऑटोमोबाइल निर्माताओं के लिए कुल जोख़िम 40 फ़ीसदी तक सीमित रहेगा. बाक़ी 60 फ़ीसदी ऑटो एनसिलियेरी (सहायक उपकरण बनाने वाली यूनिट्स) जैसे कि बैटरी, बैटरी केमिकल, ऑटोमेशन, कनेक्टिविटी जैसे सेक्टर की ओर होगा.

मिराए एसेट निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव ETF में ऑटोमोबाइल और बैटरी सेगमेंट में प्रोडक्शन-लिंक्ड इनसेंटिव (PLI) हासिल करने वाली कंपनियां और हाइब्रिड और इलेक्ट्रिक वाहनों (FAME) को तेज़ी से अपनाने और मैन्युफ़ैक्चर करने जैसी इंडस्ट्री पहल में हिस्सा लेने वाली कंपनियां भी शामिल होंगी.

परफ़ॉर्मेंस

जबकि निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव TRI नई कंपनियां हैं, इंडेक्स में शामिल ज़्यादातर कंपनियां कुछ वक़्त से मौजूद हैं. इसलिए, हमने निफ्टी ऑटो इंडेक्स और बड़े निफ्टी 500 इंडेक्स के मुक़ाबले उनके रिटर्न की तुलना शॉर्ट (एक साल), मीडियम (तीन साल) और लॉन्ग टर्म (पांच साल) में करने का फ़ैसला किया.

रिटर्न की तुलना

अवधि निफ़्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव इंडेक्स (%) निफ़्टी 500 इंडेक्स (%) निफ़्टी ऑटो इंडेक्स (%)
1 साल 52.8 35.2 66.2
3 साल 36 18.1 31.9
5 साल 30.7 17.9 24.9
स्रोत: इन्वेस्टर्स प्रिजेंटेशन. 31 मई 2024 तक का रिटर्न

निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव इंडेक्स ने निफ्टी 500 से बेहतर परफ़ॉर्म किया है, लेकिन एक साल की अवधि में निफ्टी ऑटो इंडेक्स से पीछे रहा है.

हालांकि, पांच सालों में, निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव इंडेक्स ने निफ्टी 500 (17.9 फ़ीसदी) और निफ्टी ऑटो इंडेक्स (24.9 फ़ीसदी) दोनों से बेहतर परफ़ॉर्म करते हुए 30.7 फ़ीसदी का मज़बूत सालाना रिटर्न दिया है.

फ़ंड मैनेजरों के बारे में

एकता गाला और अक्षय उदेशी फ़ंड का प्रबंधन करेंगे.

गाला को डीलर के तौर पर छह साल से ज़्यादा का तजुर्बा है. इससे पहले वह ICICI प्रूडेंशियल एसेट मैनेजमेंट कंपनी (AMC) से जुड़ी थीं, और फिलहाल वह मिराए एसेट AMC में 21 पैसिव स्कीम्स को मैनेज करती हैं.

उदेशी को फ़ाइनांस सर्विसेज़ में चार साल से ज़्यादा का तजुर्बा है. वह जून 2021 से मिराए एसेट AMC से जुड़े हुए हैं. इससे पहले वह रिलायंस रिटेल और L&T फाइनेंशियल सर्विसेज़ से जुड़ी थीं, उदेशी फ़िलहाल चार पैसिव स्कीमों को मैनेज करती हैं, जिनमें मिराए एसेट के गोल्ड और सिल्वर ETF शामिल हैं.

क्या आपको इस ETF में निवेश करना चाहिए?

निफ्टी EV और न्यू एज ऑटोमोटिव TRI ने मीडियम से लंबे अर्से में बेहतरीन रिटर्न दिया है.

हालांकि, ये इंडेक्स नया है और ऑटो फंड्स का स्वभाव सेक्टर वाला है. ऐसे फ़ंड बड़े उतार-चढ़ाव वाले होते हैं और उनमें कंसॉलिडेशन के दौर आते हैं.

निवेशकों के लिए मल्टी-कैप या फ्लेक्सी-कैप फ़ंड जैसे डाइवर्स इक्विटी फ़ंड चुनना बेहतर होगा, क्योंकि वे ऑटो सेक्टर सहित विभिन्न सेक्टरों में निवेश करते हैं. मिसाल के लिए, EV इंडेक्स में टॉर 15 स्टॉक पहले से ही कई फ्लेक्सी-कैप स्कीमों में मौजूद हैं, जो आपको EV कंपनियों में निवेश करने में मदद करेंगे.

ये भी पढ़िए - NFO में निवेश से पहले खुद से पूछें ये 3 सवाल


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