Published: 23rd Oct 2024
By: Value Research Dhanak
अगर आप Mutual Fund में करते हैं निवेश तो जानिए रेग्युलर और डायरेक्ट प्लान में अंतर
म्यूचुअल फ़ंड में निवेश दो प्लान होते हैं. पहला - डायरेक्ट प्लान और दूसरा - रेग्युलर प्लान. कई बर निवेशक निवेश करते समय इन दोनों के बीच के अंतर को जाने बगै़र निवेश कर देते हैं. इससे उन्हें नुक़सान उठाना पड़ता है.
अगर आप इनके नाम पर ग़ौर करें तो आप आसानी से समझ सकते हैं कि म्यूचुअल फ़ंड के डायरेक्ट प्लान में बिना किसी एजेंट और डिस्ट्रीब्यूटर के सीधे निवेश किया जाता है. लेकिन रेग्युलर प्लान में ऐसा नहीं है इसमें एजेंट और डिस्ट्रीब्यूटर के ज़रिए निवेश किया जाता है.
किसी भी म्यूचुअल फ़ंड में एक्सपेंस रेशियो बहुत ज़रूरी होता है.इससे पता चलता है कि फ़ंड की लागत कितनी है. एजेंट न होने के कारण डायरेक्ट प्लान में एक्सपेंस रेशियो कम होता है और निवेशक को ज़्यादा रिटर्न मिलता है. वहीं, रेग्युलर प्लान में एजेंट होने के कारण कम रिटर्न मिलता है.
डायरेक्ट म्यूचुअल फ़ंड में आप सीधे ऑनलाइन निवेश कर सकते हैं और अपने निवेश को ऑनलाइन मॉनिटर भी कर सकते है. ये उन निवेशकों के लिए बेहतर विकल्प हो सकता है, जिन्हें बाज़ार के बारे में जानकारी होती है और परफ़ॉर्मेंस ट्रैक करके समय पर निवेश से जुड़े फ़ैसले आसानी से ले सकते हैं.