Published: 26th Aug 2024
By: Value Research Dhanak
बीते कुछ समय से मैंने धनक-वैल्यू रिसर्च की रेक़मेंडेशन को फ़ॉलो करते हुए क़रीब 40 से ज़्यादा म्यूचुअल फ़ंड्स इकट्ठा कर लिए हैं. कृपया मुझे इनकी संख्या कम करने और पोर्टफ़ोलियो को बैलेंस करने का कोई तरीक़ा बताएं.
ज़िंदगी भर की ज़रूरतों को पूरा करने के लिहाज़ से पोर्टफ़ोलियो का मैनेजमेंट अहम हो जाता है. एक अच्छे पोर्टफोलियो में इतनी ताकत होती है कि आपको हर दौर में अच्छा रिटर्न दिला सकता है. इसीलिए अपने फ़ाइनेंशियल गोल्स तक पहुंचने के लिए एक सही पोर्टफ़ोलियो ज़रूरी होता है.
इस कहावत की निवेश की दुनिया में ख़ासी अहमियत है. अगर आप पूरा भरोसा एक ही फ़ंड पर दिखाते हैं, तो निवेश बढ़ने के बजाए नुक़सान की आशंकाएं ज़्यादा बढ़ जाती हैं. इसलिए, अपने पोर्टफ़ोलिओ को सही तरीक़े से मैनेज करने यानी, पोर्टफ़ोलियो को डाइवर्सिफ़ाई रखना ज़रूरी है.
डाइवर्सिफ़िकेशन के लिए 4-5 फ़ंड ही काफ़ी होते हैं. कई निवेशक मानते हैं कि ज़्यादा फ़ंड्स यानी बेहतर रिस्क मैनेजमेंट. लेकिन आपके पोर्टफ़ोलियो में जब काफ़ी फ़ंड इकट्ठे हो जाते हैं, तो उन सभी को ट्रैक करना मुश्किल हो सकता है.
लंबे समय से ख़राब प्रदर्शन कर रहे फ़ंड्स से बाहर निकलकर इसकी शुरुआत कर सकते हैं. भले ही आपके पास कई फ़ंड्स न हों, हर एक फ़ंड का आकलन उसके लॉन्ग-टर्म के प्रदर्शन, कैटगरी एवरेज और बेंचमार्क प्रदर्शन के आधार पर करनी चाहिए.
उस निवेश से बाहर निकलना ज़रूरी है जो कम एलोकेशन के रहते आपके पोर्टफ़ोलियो में कोई असर नहीं डालते हैं. एलोकेशन कम से कम 5% का ज़रूर होना चाहिए. इसलिए, ऐसे फ़ंड्स को बेचना सही रहेगा, जिनमें 5% से कम एलोकेशन है.