KYC के ज़रिये बैंक को आपकी पहचान, पते और फ़ाइनेंशियल हिस्ट्री का पता चलता है. ये भी पता चलता है कि निवेश का पैसा किसी अवैध गतिविधि में नहीं रहा है.
Mutual Fund investment के लिए भी KYC ज़रूरी है. हालांकि, हर बार अलग-अलग फ़ंड हाउस में निवेश करने से पहले KYC कराना ज़रूरी नहीं.
पहली बार निवेश करने से पहले KYC ज़रूरी होता है. बैंकों अकाउंट खोलने या फ़िक्स्ड डिपॉज़िट में निवेश करने के लिए भी KYC करने की ज़रूरत होती है.
KYC ख़ुद ऑफ़िस में जाकर किया जा सकता है. KRA (KYC Registration agency) की मंज़ूरी में 7 दिन तक लग सकते हैं. ऑफ़लाइन KYC को 4 स्टेप में समझें.
जिस बैंक या संस्थान में आप अकाउंट/ निवेश/ लोन के लिए अप्लाई कर रहे हैं, उसकी वेबसाइट से KYC फ़ॉर्म डाउनलोड कर सकते हैं या दफ़्तर से ले सकते हैं.
इस फ़ॉर्म में आपको अपने पते और पहचान के लिए अपना आधार और पैन नंबर देना होगा. साथ ही बायोमैट्रिक्स और आपकी बुनियादी जानकारी मांगी जाएगी.
आप KRA यानी KYC रजिस्ट्रेशन एजेंसी (NDML, CAMS, KARVY, CVL, NSE) के ऑफ़िस में आवेदन जमा करें. इनकी वेबसाइट या गूगल से नज़दीकी ऑफ़िस पता लग जाएगा.
फ़ॉर्म जमा होने पर आपको एक रेफ़रेंस नंबर मिलेगा. इसके बाद, आप KRA की वेबसाइट या उसी ऑफ़स में जाकर, अपने PAN नंबर से KYC स्टेटस जान सकते हैं.