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बाज़ार में उथल-पुथल के दौर में म्यूचुअल फ़ंड आपके लिए सबसे अच्छा विकल्प क्यों है?

हम आपको दो कारण बता रहे हैं

मार्केट जब डाउन हो तो क्या म्यूचुअल फ़ंड्स ख़रीदना सही है?AI-generated image

शेयर बाज़ार में गिरावट निवेशकों को डरा सकती है. जब शेयर की क़ीमतें तेज़ी से गिरती हैं, तो अक्सर निवेशक घबराकर ये सवाल करने लगते हैं कि क्या उन्हें निवेश जारी रखना चाहिए या नुक़सान से बचने के लिए बाहर निकल जाना चाहिए.

हमारा जवाब? बाज़ार में आप बने रहें.

इतिहास गवाह है कि मंदी के दौरान म्यूचुअल फ़ंड्स ने शेयर बाज़ार के मुक़ाबले बेहतर प्रदर्शन करते हैं. ये न सिर्फ़ कम गिरते हैं, बल्कि जल्दी उबर भी जाते हैं. तो, बाज़ार में उतार-चढ़ाव के बावजूद निवेश बनाए रखना क्यों लंबे समय में बड़ी पूंजी बनाने के लिए एक बेहतरीन स्ट्रैटेजी है, आइए जानते हैं.

बाज़ार में गिरावट के दौरान म्यूचुअल फ़ंड्स

हमने बीते दो दशकों में जब भी सेंसेक्स में 20% से ज़्यादा की गिरावट आई, एक्टिव तौर पर मैनेज किए जाने वाले म्यूचुअल फ़ंड्स के प्रदर्शन का अनालेसिस किया है. छह बड़ी बाज़ार गिरावटों में, लार्ज-कैप मिड-कैप, स्मॉल-कैप, और फ़्लेक्सी-कैप कैटेगोरी में से ज़्यादातर फ़ंड्स ने अपने बेंचमार्क से बेहतर प्रदर्शन किया है.

ये बेहतर प्रदर्शन ख़ास तौर से फ़ंड मैनेजरों की क्षमता के कारण है जो मज़बूत स्टॉक्स का चुनाव करते हैं, संकटग्रस्त क्षेत्रों से बचते हैं और होल्डिंग्स को स्ट्रैटेजी के मुतबिक़ रखते हैं.

बाजार में गिरावट के दौरान म्यूचुअल फ़ंड कैसा प्रदर्शन करते हैं?

उन फ़ंड्स का % है जो अपनी कैटेगरी के बेंचमार्क से कम गिरे हैं

कैटेगरी FII सेलिंग (2006) ग्लोबल फ़ाइनेंशियल क्राइसेस (2008) ग्लोबल फ़ाइनेंशियल क्राइसेस के बाद (2011) युआन अवमूल्यन (2016) कोविड क्रैश (2020) मौजूदा गिरावट* (2024)
लार्ज कैप 33% 71% 70% 84% 88% 56%
फ़्लेक्सी कैप 36% 64% 64% 63% 96% 56%
मिड कैप 83% 71% 100% 50% 91% 41%
स्मॉल कैप 75% 100% 100% 77% 100% 70%
(* इस टेबल में मौजूदा बाज़ार में गिरावट में एकमात्र ऐसा उदाहरण है, जहां 19 फ़रवरी तक सेंसेक्स में 20% से कम की गिरावट आई है.)

तो मुद्दा ये है कि, एक्टिव तौर पर मैनेज किए जाने वाले म्यूचुअल फ़ंड्स डायरेक्ट स्टॉक निवेश के मुक़ाबले मंदी के दौरान बेहतर सुरक्षा देते हैं.

म्यूचुअल फ़ंड्स बाज़ार के मुक़ाबले जल्दी उबरते हैं

म्यूचुअल फ़ंड्स में निवेश करने का एक बड़ा फ़ायदा ये है कि ये जल्दी रिकवर करते हैं. ये न सिर्फ़ नुक़ासान को सीमित करते हैं, बल्कि बाज़ार के मुक़ाबले अपने पिछले बेंचमार्क तक तेज़ी से पहुंचते हैं.

मार्च 2020 में कोविड-19 के दौरान आई गिरावट को ही देखें तो बाज़ार सिर्फ़ कुछ हफ़्तों में 30% से ज़्यादा गिरावट आई थी. तो बहुत से निवेशकों ने डर के कारण निवेश बाहर निकल लिया और उसके बाद हुई तेज़ रिकवरी से भी चूक गए. वहीं, जो लोग एक्टिवली मैनेज किए जाने वाले म्यूचुअल फ़ंड्स में निवेशित रहे, उन्होंने अपने पोर्टफ़ोलियो में ज़बरदस्त उछाल आया और कई बार तो अपने बेंचमार्क से बेहतर प्रदर्शन किया.

गिरावट के बाद म्यूचुअल फ़ंड कितनी जल्दी उबरते हैं?

उन फ़ंड्स का % है जो सबसे बड़ी मंदी के बाद अपनी कैटेगरी के बेंचमार्क की तुलना में तेज़ी से रिकवार हुए हैं

फ़ंड कैटेगरी FII सेलिंग (2006) ग्लोबल फ़ाइनेंशियल क्राइसेस (2008) युआन अवमूल्यन (2016) कोविड क्रैश (2020)
लार्ज कैप 27% 47% 60% 31%
फ़्लेक्सी कैप 46% 73% 68% 100%
मिड कैप 83% 65% 35% 57%
स्मॉल कैप 25% 100% 92% 90%

ये पैटर्न साफ़ है: ज़्यादातर एक्टिवली मैनेज किए जाने वाले म्यूचुअल फ़ंड्स बाज़ार के मुक़ाबले जल्दी रिकवर होते हैं, सिवाय लार्ज-कैप फ़ंड्स के, जो ज़्यादा समय लेते हैं मगर स्थिरता भी देते हैं.

ऐतिहासिक तौर पर देखें तो बाज़ार में गिरावट के दौरान म्यूचुअल फ़ंड्स से बाहर निकलना एक ग़लती है. जो निवेशक धैर्य रखते हैं, उन्हें मज़बूत रिकवरी का फ़ायदा मिलता हैं.

आपको अब क्या करना चाहिए?

1. बाजार की परिस्थितियां चाहे जैसी भी हों, निवेश बनाए रखें निवेशकों की सबसे बड़ी ग़लती है बाज़ार का अनुमान लगाने की कोशिश करना. आंकड़े बताते हैं कि अगर आप बाज़ार के कुछ बेहतरीन दिनों को मिस करते हैं, तो यह लॉन्ग-टर्म रिटर पर बुरा असर पड़ सकता है. निवेश बनाए रखने से आप बाज़ार की रिकवरी का फ़ायदा उठा सकते हैं.

2. SIP का फ़ायदा उठाएं
अगर बाज़ार में उतार-चढ़ाव आपको चिंता में डालता है, तो सिस्टेमैटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (SIP) के ज़रिए निवेश करना सबसे बेहतरीन स्ट्रैटेजी है. SIP बाज़ार में उतार-चढ़ाव को औसत करने में मदद करती है, जिससे ये पक्का हो जाता है कि जब बाज़ार नीचे हो तो आप ज़्यादा यूनिट ख़रीदें और जब बाज़ार ऊपर हो तो कम यूनिट ख़रीदें.

भले ही आप सबसे ख़राब समय पर निवेश करें, लॉन्ग-टर्म की SIP रिटर्न में स्थिरता आती है और अच्छी रिकवरी होती है. जैसा कि नीचे दी गई टेबल में देख सकते हैं. भले ही पहले पांच साल में आपका रिटर्न ख़राब हो, लेकिन 10 साल या उससे ज़्यादा समय तक निवेशित रहने से नुक़सान मुनाफ़े में बदल जाता है.

समय कैसे मार्केट रिस्क को कम करता है

संबंधित समय अवधि में कैटेगरी के तहत एक औसत फ़ंड के सबसे ख़राब SIP रिटर्न के आधार पर

साल 5 10 15 20
लार्ज कैप (सबसे ख़राब रिटर्न%) -9 1 6 13
फ़्लेक्सी कैप (सबसे ख़राब रिटर्न%) -9 3 7 13
मिड कैप (सबसे ख़राब रिटर्न%) -12 4 8 16
स्मॉल कैप (सबसे ख़राब रिटर्न%) -13 4 8 -
ये डेटा जनवरी 2025 तक के रेग्युलर प्लान का है

इस बात ध्यान रखें!

बाज़ार में हमेशा उतार-चढ़ाव बना रहेगा, लेकिन इतिहास ने ये दिखाया है कि म्यूचुअल फ़ंड्स मंदी के दौरान बेहतर प्रदर्शन करते हैं और बाज़ार की तुलना में तेज़ी से उबरते हैं.

अगरआप अनुशासित रहते हैं, निवेश बनाए रखते हैं, और SIP जारी रखते हैं, तो आपको कंपाउंडिंग का फ़ायदा होगा और आप उतार-चढ़ाव को आराम से पार कर पाएंगे.

तो, अगली बार जब बाज़ार गिरावट आए, घबराएं नहीं. अपने रास्ते पर बने रहें और समय को अपने पक्ष में काम करने दें.

ये भी पढ़िए: SIP रोकने की होड़ मची है, पर आपको क्या करना चाहिए?

ये लेख पहली बार मार्च 06, 2025 को पब्लिश हुआ.

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